भारतरत्न बाबासाहेब भीमराव रामजी आंबेडकर सहित राहुल सांस्कृत्यायन की जयंती समारोह आयोजित’
जमशेदपुर। साहित्य समिति , तुलसी भवन द्वारा संस्थान के प्रयाग कक्ष में ‘लोक मंच’ ( बहुभाषी काव्य गोष्ठी ) सह संविधान निर्माता भीमराव अम्बेडकर , राहुल सांकृत्यायन एवं अयोध्या सिंह उपाध्याय ‘ हरिऔध ‘ जयंती मनाई गई। अध्यक्षता संस्थान के अध्यक्ष श्री सुभाष चन्द्र मुनका तथा संचालन श्रीमती माधवी उपाध्याय ने किया। स्वागत भाषण मानद महासचिव डाॅ० प्रसेनजित तिवारी एवं धन्यवाद ज्ञापन श्रीमती रीना सिन्हा ने किया।
कार्यक्रम के प्रारंभ में द्वीप प्रज्जवल कर और आंबेडकर सहित दोनों साहित्यकारों के तस्वीर पर पुष्पार्पण कर श्रद्धा सुमन अर्पित किया गया।
तत्पश्चात हिन्दू समाज के अगुआ भारतरत्न बाबासाहेब के जीवन पर प्रसेनजित तिवारी ने विस्तार से अपने विचार रखे। उन्होंने बताया बाबासाहेब ने न केवल हमें संविधान दिया बल्कि समाज में फैली असमानता के विरुद्ध आवाज उठाकर भारत को मजबूती प्रदान किया। साहित्यकारों का परिचय क्रमश: ब्रजेन्द्रनाथ मिश्र एवं सुरेश चन्द्र झा ने प्रस्तुत की । काव्य पाठ की शुरुआत श्री दिव्येन्दु त्रिपाठी के संस्कृत में सुमधुर सरस्वती वंदना से हुई ।
इसके बाद शहर के कुल 60 कलमकारों ने अपनी – अपनी मातृभाषाओं में यथा भोजपुरी , मैथिली , तेलगू , अंगिका, अंग्रेजी, राजस्थानी, हिन्दी , संथाली, छोटा नागपुरी , संस्कृत , बंगला, पंजाबी वगैरह में रचित काव्य रचनाएं प्रस्तुत की ।
काव्य पाठ करने वालों में सर्वश्री / श्रीमती हरिहर राय चौहान, संगीता मिश्रा, चंदन प्रजापति, राजेन्द्र साह ‘राज’ , निर्मला राव , शीतल प्रसाद दूबे, अरुणा झा, मनोकामना सिंह ‘अजय’, जोबा मुर्मू, नीलम पेडिवाल, ममता कर्ण, डाॅ. उदय प्रताप हयात, माधुरी मिश्र, कैलाशनाथ शर्मा ‘गाजीपुरी’ , पुनम सिंह, विमल किशोर विमल, नीता सागर चौधरी, वसंत जमशेदपुरी, सुनिता बेदी, शिव नन्दन सिंह, शकुन्तला शर्मा, बलविन्दर सिंह, लक्ष्मी सिंह, डाॅ. वीणा पाण्डेय ‘भारती’ , रीना सिन्हा, भंजदेव देवेन्द्र कुमार ‘व्यथित’, क्षमाश्री दूबे , अनिरुद्ध त्रिपाठी ‘अशेष’ , ब्रजेन्द्र नाथ मिश्र, यमुना तिवारी व्यथित, माधवी उपाध्याय प्रमुख रहे । जबकि तुलसी भवन के उपाध्यक्ष श्री राम नन्दन प्रसाद, साहित्य समिति के सचिव डॉ. अजय कुमार ओझा , प्रसन्न वदन मेहता, खुशबू बरनवाल, अनिता निधि, अमन प्रियदर्शी, अमन निराला, मधुमिता साहा की उपस्थिति सराहनीय रही ।