जमशेदपुर। भारत सरकार को सेंगेल का अल्टीमेटम है, 20 नवंबर, 22 तक प्रकृति पूजक आदिवासियों को सरना धर्म कोड की मान्यता दो या बातचीत शुरू करो। अन्यथा सेंगेल अन्य आदिवासी संगठनों के सहयोग से 30 नवंबर, 22 को 5 प्रदेशों में रेल रोड चक्का जाम करने को बाध्य हो सकता है। कल 30 सिंतबर,22 को कोलकाता के रानी राश्मोनी रोड (एस्प्लेनेड) में सेंगेल द्वारा सरना धर्म कोड रैली का आयोजन है। जिसमे झारखंड बंगाल बिहार ओडिसा असम राज्यों से लाखों आदिवासी शामिल होंगे। जनसभा दिन के 12 बजे शुरू होकर 4 बजे खत्म हो सकती है
सरना धर्म कोड मान्यता आंदोलन को सफलीभूत करने की दिशा में एक बड़ी ख़ुशी की खबर है कि आदिवासी सेंगेल अभियान के साथ मिलकर काम करने के लिए राष्ट्रीय सरना धर्म रक्षा अभियान, राँची ने अपनी सहमति प्रदान कर दिया है। जिसके तीन मुख्य संयोजक सरना धर्म गुरु बंधन तिग्गा, डॉ करमा उराँव और विध्यासागर केरकेट्टा ने इस महत्वपूर्व फ़ैसले की जानकारी दी है।
आदिवासी सेंगेल अभियान के राष्ट्रीय अध्यक्ष पूर्व सांसद सालखन मुर्मू 30 सितम्बर 2022 के कोलकाता रैली की अध्यक्षता करेंगे। और उस रैली के मुख्य अतिथि के रूप में सरना धर्म गुरु बंधन तिग्गा कोलकाता में शामिल होंगे। उनके साथ डॉ करमा उराँव एवं विध्यासागर केरकेट्टा भी विशिष्ट अथिति के रूप में शामिल होंगे।
सरना धर्म गुरु बंधन तिग्गा के नेतृत्व में दिल्ली में 11 नवंबर, 22 को होनेवाले सरना धर्म पार्लियामेंट मार्च में सालखन मुर्मू के नेतृत्व में सेंगेल के प्रतिनिधि भी शामिल होंगे।