श्रद्धा के साथ मनाया गुरु हरगोविंद जी का प्रकाश पर्व
– नम्रता एवं झुक कर ही आशीर्वाद मिलता है : सुखविंदर
जमशेदपुर: सिखों के छठे गुरु हरगोविंद जी का 427 वाँ प्रकाश पर्व बड़े ही श्रद्धा के साथ मनाया गया। भाई जसपाल सिंह छाबड़ा ने कीर्तन गायन किया और गुरु इतिहास को रखा।
उन्होंने कहा कि सिख का किरदार और चरित्र ही उसे सबसे अलग करता है। जिसमें त्याग सेवा समर्पण राष्ट्रप्रेम मानवता की प्रेम की भावना हो और जालिमों से टक्कर लेने का जज्बा रखता है वही वास्तव में गुरु का सिख है।
महासचिव सुखविंदर सिंह के अनुसार नम्रता एवं झुक कर ही गुरु घर का आशीर्वाद पाया जा सकता है। अहंकारियों को मात देने के लिए ही श्री अकाल तख्त की सृजना की गई थी।
स्त्री सत्संग सभा की बीबी बलविंदर कौर सतनाम कौर निर्मल कौर बलविंदर कौर नरेंद्र कौर ने भी कीर्तन गायन किया।
संगत की ओर से ट्रस्टी जनरल सिंह ट्रस्टी बलविंदर सिंह, ट्रस्टी अमरजीत सिंह भामरा, ट्रस्टी कमलजीत कौर गिल, चेयरमैन करतार सिंह, पूर्व प्रधान जसपाल सिंह ने गुरु घर के वजीर निरंजन सिंह, सतबीर सिंह एवं जत्थे को सम्मानित किया।
परंपरा के अनुसार मिस्सी रोटी, लस्सी प्याज एवं आचार का लंगर श्रद्धा के साथ संगत ने ग्रहण किया।
इस मौके पर चेयरमैन मोहन सिंह चेयरमैन जसवंत सिंह प्रधान कुलविंदर सिंह, वर्किंग प्रधान संदीप सिंह, उप प्रधान कुलदीप सिंह, वरीय प्रधान अवतार सिंह, कुलदीप सिंह, सविंदर सिंह, मनदीप सिंह, विक्रम सिंह, जगबीर सिंह पन्ना आदि शामिल थे।