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विधेयक पारित होने से ईडी और सीबीआई के रडार पर रहने वाले ग्रामीण विकास विशेष के मुख्य अभियंता अवधेश कुमार को मिली बड़ी राहत


रांची। झारखंड सरकार ने ईडी और सीबीआई जांच से बचने के लिए झारखंड कार्यपालिका नियमावली में संशोधन विधेयक अपने कैबिनेट में पारित कर दिया है। अब ईडी सीबीआई सीधे तौर पर किसी मंत्री, अधिकारी को सम्मन भेज कर नहीं बुला सकेंगें और न ही सीधे तौर पर गिरफ्तार कर सकेंगें। इस नियमावली के पारित होने के बाद निगरानी विभाग की शक्तियां बढ़ गई हैं। मुख्यमंत्री हेमन्त सोरेन ने अचानक से किस डर या किस आने वाले संकट से बचने के लिए आनन फानन में अपने कैबिनेट में प्रस्ताव पारित किया है, जो काफी चर्चा का विषय बना हुआ है । सूत्रों की माने तो ग्रामीण कार्य विभाग के अभियंता वर्ग के दबाव में कार्यपालिका नियमावली संशोधित विधेयक पारित किया गया है? हाल ही में या बोला जाए तो कम समय में ग्रामीण कार्य विभाग में हीरो के रूप में उभरने वाले ग्रामीण विकास विशेष के प्रभारी मुख्य अभियंता अवधेश कुमार पर ईडी की तलवार लटक रही थी। सूत्रों से पता चला है कि आज कल में ईडी का सम्मन होने की संभावना बताई जा रही थी साथ ही गिरफ्तारी का डर भी सता रहा था। इस नियमावली के पास होने से अवधेश कुमार काफ़ी खुश नज़र आ रहे हैं। मुख्य अभियंता कार्यालय के कर्मचारी और अभियंता वर्ग का कहना है कि साहेब के चेहरे पर एक मुद्दत के बाद खुश नज़र आ रहे हैं। आचार संहिता खत्म होने के समय 33 निविदा का निष्पादन अवधेश कुमार के द्वारा किया गया है, जिसमें भारी वसूली किए जाने की चर्चा है?वसुली राशि का दो हिस्सा संजीव कुमार लाल और मंत्री आलमगीर आलम का था।
? सूत्रों से प्राप्त जानकारी अनुसार जल संसाधन विभाग ने स्पेशल कोटा में अवधेश कुमार को रेगुलर मुख्य अभियंता बनाने में जुटी है और सेवा फिर से ग्रामीण कार्य विभाग को सौंपने जा रही है। जेएमएम और कांग्रेस पार्टी के लिए एक मात्र अवधेश कुमार ही है जो विधान सभा चुनाव में आर्थिक स्तर पर सहयोग करेंगे? ऐसा लगता है कि जल संसाधन विभाग में किसी भी कास्ट के अभियंता अवधेश कुमार से अधिक या बराबरी, योग्य अभियंता नहीं है, जिसे ग्रामीण कार्य विभाग में सेवा दिया जा सके और ग्रामीण विकास विशेष का मुख्य अभियंता बनाया जा सके। वर्तमान समय में ऐसा लगने लगा है कि ग्रामीण कार्य विभाग एवं जल संसाधन विभाग को अवधेश कुमार चला रहें हैं? झारखंड के समाजिक संगठन के द्वारा बहुत जल्द आय से अधिक सम्पत्ति अर्जित किए जाने का मामला झारखण्ड उच्च न्यायालय में दायर किए जाने की स्भावना है। जेल में बंद ग्रामीण कार्य विभाग के तत्कालिन मंत्री आलमगीर आलम, मंत्री के सचिव संजीव कुमार लाल और पूर्व मुख्य अभियंता बिरेंद्र राम के काफ़ी नजदीकि और चहेते रहें हैं। इसी कारण से अवधेश कुमार पर सरकार और विभाग दोनो अवधेश कुमार को ही मुख्य अभियंता बनाने जा रहे हैं?

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