यूनीफॉर्म कोड आदिवासी हित में नहीं हैं : दशरथ हांसदा
जमशेदपुर के बिष्टुपुर स्थित एक्सएलआरआई ऑडिटोरियम में केंद्र सरकार द्वारा लाई जा रही यूनिफॉर्म सिविल कोड पर आदिवासी समाज के लोगों ने एक परिचर्चा का आयोजन किया जहां इस परिचर्चा में यह कानून आदिवासियों के हित के लिए है या नहीं इस पर सभी ने अपने अपने विचार व्यक्त किए।
केंद्र सरकार द्वारा बहुत जल्द यूनिफॉर्म सिविल कोड लाया जा रहा है, यह बिल आदिवासियों के लिए हितकर है या नहीं इस पर कोल्हान स्तरीय एक परिचर्चा का आयोजन बिष्टुपुर स्थित एक्सएलआरआई ऑडिटोरियम में आयोजित किया गया जिसमें पूरे कोल्हान से आदिवासी समाज के हर वर्ग ने हिस्सा लिया और बारीकी से इस बिल के संबंध में जानकारी हासिल की जुगसलाई परो परगना दशरथ हांसदा ने बताया कि बहुत जरूरी हो जाता है। किसी भी कानून के संबंध में जानकारी हासिल करना कि वह समाज के लिए सही है या गलत, उन्होंने कहा कि यह कानून आदिवासी समाज के लिए हितकर नहीं, क्योंकि इस कानून से आदिवासी समाज का अस्तित्व खतरे में पड़ जाएगा उन्होंने बताया कि केंद्र सरकार द्वारा लाए जा रहे इस कानून के पक्षधर में आदिवासी समाज नहीं है, जिसे लेकर एक परिचर्चा की जा रही है साथ ही साथ इस कानून के विरोध में एक रणनीति भी तैयार की जा रही है।