झामुमो नेता गोपाल महतो ने डिमना चौक पर बाबा तिलका मांझी को दी श्रद्धांजलि
जमशेदपुर। झारखण्ड मुक्ति मोर्चा के जमशेदपुर पूर्व नगर सचिव गोपाल महतो के नेतृत्व में मानगो डिमना चौक में स्थित वीर शहीद तिलका मांझी के मूर्ति पर माल्यार्पण कर श्रद्धांजलि दिया गया।
तिलका मांझी का जन्म 11 फरवरी, 1750 को बिहार के सुल्तानगंज में ‘तिलकपुर’ नामक गाँव में एक संथाल परिवार में हुआ था. इनके पिता का नाम सुंदरा मुर्मू था. उनका वास्तविक नाम ‘जबरा पहाड़िया’ ही था, तिलका मांझी यह नाम उन्हें ब्रिटिश सरकार द्वारा दिया गया था।
पहाड़िया भाषा में ‘तिलका’ का अर्थ है गुस्सैल और लाल-लाल आंखों वाला व्यक्ति। वे ग्राम प्रधान थे, इसलिए उन्हें मांझी भी कहा गया। क्योकि, पहाड़िया समुदाय में ग्राम प्रधान को मांझी कहकर पुकारने की प्रथा है। इस वीर आदिवासी जबरा पहाड़िया को अंग्रेजो ने धोखे से कैद किया। ऑथर कूट के नेतृत्व में तिलका मांझी की गुरिल्ला सेना पर हमला किया गया था। जिसमें कई लड़ाके मारे गए और उन्हें गिरफ्तार कर लिया गया। कहते हैं उन्हें चार घोड़ों में बांधकर घसीटते हुए भागलपुर लाया गया था। तिलका मांझी की लाल आँखे देख अंग्रेज़ घबरा गए थे। डरते हुए अंग्रेज़ो ने भागलपुर के चौराहे पर स्थित एक विशाल वटवृक्ष पर उन्हें लटकाकर उनको फांसी की सजा देकर हत्या कर दी। 13-जनवरी-1785 को जबरा पहाड़िया ने हम भारत के रहने वालो को सदा सदा के लिए ऋणी बना गए।
झामुमो नेता गोपाल महतो ने कहा वीर शहीद तिलका मांझी जैसे क्रांतिकारी को देश वासी कभी भूल नहीं पाएंगे ,हम सदा उनका आभारी रहेंगे। जिसमे मुख्य रूप से झामुमो ने गोपाल महतो के साथ रमेश मुर्मू, मनिल महतो,संदीप महतो,ऋषि प्रसाद,सोनू कुमार उपस्थित थे ।