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हसदेव बचाव मंच ने हसदेव केते अभ्यारण जंगल को कोयला निकालने के लिए काटने का काम कर रहे हैँ विरोध

अंबिकापुर। छत्तीसगढ़ राज्य के जिला सरगुजा से हसदेव केते अभ्यारण्य जंगल को कोयला निकालने के लिए कटा गया है और कई हेक्टरों में घने जंगल की कटाई होनी है। जिससे प्रभावित गांवों के वनवासियों को विस्थापन का दुख दर्द भोगना पड़ रहा है। आदानी ग्रुप को यह ठेका कार्य मिला हुआ है जो हसदेव केते घने जंगलों की सफाया कर कोयला का खनन कर राजस्थान राज्य के लिए भेज जा रहा है राज्य में कांग्रेस के भूपेश बघेल सरकार के विरुद्ध राज्य की जनता ने मत देकर भारतीय जनता पार्टी पर विश्वास किया की अबकी बार आदिवासी मुख्यमंत्री बनेगा और हसदेव परसा केते जंगल के विनाश पर रोक लगाएगा। किंतु भाजपा के शासन में आदिवासी मुखमंत्री बनाने के बाद भी वही काम अनवरत जारी है!
शासन की मंशा को देखते हुए विरोध स्वरूप जल जंगल जमीन को बचाने के लिये पिछले तीन वर्षों से क्षेत्र की जनता आंदोलन रत है। राज्य शासन प्रशासनिक शक्ति से आंदोलन को कुचलने के लिए हर संभव छल बल का प्रयोग कर रही है। इसी तारतम्य में हसदेव बचाव मंच पिछले 26 जनवरी से रमेश ठाकुर मंच के संयोजक एवम साथियों द्वारा हसदेव बचाव जन जागरण गांव गांव की यात्रा कर जन चेतना जगाने का काम किया जा रहा है जिसके अंतर्गत 246 किलो मीटर पद यात्रा का ग्यारहवे दिन सूरजपुर जिले के विश्रामपुर बस स्टेंड स्थल पर 4 फरवरी को आम सभा का आयोजन किया गया जिसमें आंदोलनकारी बृजमोहन गोंड,आचार्य दिग्विजय सिंह तोमर , ऋतिक,रघुनाथ मरकाम, अशोक तिर्की, सुरेंद्र नेति व साथियों ने अपनी बातें तर्कपूर्ण व संवैधानिक तरीके से रखा। हसदेव बचाओ मंच का जन जागरण अभियान कुछ दिनों के लिए स्थगित करने की भी घोषणा की गई है। कार्यक्रम का आयोजन एवम सफल संचालन मंटू राम विश्रामपुर ने किया।
आचार्य दिग्विजय सिंह तोमर मीडिया प्रभारी व राष्ट्रीय उपाध्यक्ष ऑल इंडिया मीडिया फाउंडेशन कोलकाता।

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